दून विश्वविद्यालय के छात्रों ने की महिला अधिकारों की आवाज बुलंद

देहरादून - दून विश्वविद्यालय के थियेटर क्लब के छात्रों ने अंतरराष्ट्रीय महिला दिवस पर नुक्कड़-नाटक का आयोजन कर महिलाओं के अधिकारों के प्रति संवेदनशील बनने का संदेश दिया। महिला दिवस के लिए विशेष तौर पर छात्रों ने नाटक तैयार किया, जिसका शीर्षक –लोग क्या सोचेगें- था। नाटक का लेखन अर्नव डंगवाल, बी.ए द्वतीय वर्ष, मीडिया विभाग ने किया, जबकि निर्देशन शंशाक तिवारी, बी.ए द्वीतीय वर्ष, मीडिया विभाग ने किया।नाटक में 15 पात्रों ने भाग लिया। दून विश्वविद्याल के तमाम स्कूलों के छात्रों स्वयं के प्रयास से ही नाटक तैयार किया। इसका मंचन विश्वविद्यालय परिसर में कई जगहों पर किया गया। इस प्रयास की सबसे खास बात यह रही कि नाटक को देखने के लिए छात्रों ने
 को आंमत्रित नहीं किया, लेकिन जैसे ही छात्रों ने नाटक का मंचन शुरू किया। भीड़ अपने आप जुटना शुरू हो गई। नाटक देखने पहुंचे शिक्षकों, छात्रों एवं विश्वविद्यालय के अन्य कर्मचारियों नाटक की सराहना की। दून विश्वविद्यालय के थियेटर क्लब के अध्यक्ष आशीष डंगवाल, बी.एस.सी तृतीय वर्ष, भौतिक विज्ञान, ने बताया कि नाटक के जरिए घरेलू हिंसा, बलात्कार और मासिक धर्म के दौरान के होने वाले भेदभाव के खिलाफ सभी को जागरूक करने का प्रयास किया। नाटक के मंचन में आंचल चौहान, समीक्षा रतूड़ी, श्रीजन रवि कैसाश, शोबित चंदोला, अराध्य सिंह, शुभम बडोनी, जसप्रीत कौर, दीपक कुमार, श्रीजन जोशी आदि शामिल रहे।शंशाक तिवारी, थियेटर क्लब दून विश्वविद्यालय 

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