मेरा शरीर मुम्बई में और आत्मा उत्तराखण्ड में-प्रसून जोशी
ऋषिकेश-हिन्दी कवि, लेखक, पटकथा लेखक, भारतीय सिनेमा के गीतकार एवं सर्वश्रेष्ठ गीतकार का फिल्म फेयर पुरस्कार से सम्मानित प्रसून जोशी सपरिवार परमार्थ निकेतन पहुंचे।प्रसून जोशी ने परमार्थ निकेतन के परमाध्यक्ष स्वामी चिदानन्द सरस्वती से भेंट कर आशीर्वाद लिया। उत्तराखण्ड के अल्मोड़ा में जन्में जोशी बचपन से ही प्रकृति एवं प्राकृतिक सौन्दर्य के प्रति आकर्षित रहे है। स्वामी चिदानन्द सरस्वती ने प्रसून जोशी से उत्तराखण्ड राज्य में बढ़ते पलायन के विषय में चर्चा की। उन्होने कहा कि युवाओं को पहाड़ पर ही रोजगार उपलब्ध कराया जाना चाहिये नहीं तो पलायन के दंश पहाड़ों को सुना कर देगा और धीरे-धीरे पहाड़ों की संस्कृति विलुप्त हो जायेंगी। पलायन बढ़ेगा तो पहाड़ों पर होटल संस्कृति का तेजी से विकास होगा जिससे यहां का प्राकृतिक सौन्दर्य समाप्त होने लगेगा। स्वामी चिदानन्द सरस्वती ने कहा कि युवाओं को पहाड़ों पर ही रोकने के लिये स्थानीय स्तर पर रोजगार उपलब्ध करना बेहतर विकल्प है। चर्चा के दौरान स्वामी चिदानन्द सरस्वती ने कहा कि फिल्मों के माध्यम से उत्तराखण्ड की प्राकृतिक वादियाँ, पहाड़ की संस्कृति और गंगा क...