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Showing posts from February 27, 2021

गोल्डन कार्डधारक रोगी को सीआरटी-डी डिवाइस लगाई

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ऋषिकेश – हार्ट फेलियर की समस्या से जूझ रहे नैनीताल निवासी  व्यक्ति के उपचार में अखिल भारतीय आयुर्विज्ञान संस्थान एम्स ऋषिकेश के चिकित्सकों ने मरीज को बिना बेहोश किए सफलता पूर्वक सीआरटी-डी मशीन प्रत्यारोपित की है। उत्तराखंड राज्य का यह पहला मामला है, जिसमें एम्स में हुए इलाज पर किसी गोल्डन कार्ड धारक को 6 लाख रुपए का लाभ मिला है। मरीज अब पूरी तरह से स्वस्थ है और उसे एम्स अस्पताल से छुट्टी दे दी गई है। पुलिस लाइन, नैनीताल निवासी 62 वर्षीय मोहम्मद हासिम पिछले एक साल से हार्ट फेलियर की समस्या से ग्रसित थे। रोगी को सांस फूलने और हृदय की पम्पिंग एक समान नहीं होने से उसे अक्सर बेहोशी आने की शिकायत थी। यहां तक कि कभी-कभी उसके दिल की धड़कन भी कुछ समय के लिए रुक जाती थी।  मरीज का सफलतापूर्वक उपचार करने वाले एम्स के काॅर्डियोलाॅजी विभाग के एसोसिएट प्रोफेसर डा. बरुण कुमार ने बताया कि रोगी का जीवन बचाने के लिए उसके शरीर में स्पेशल पेसमेकर की तरह कार्य करने वाली एक सीआरटी-डी डिवाइस लगाई जानी बेहद जरूरी थी। रोगी को लंबे समय से बार-बार सांस फूलने की तकलीफ भी थी। जांच में पाया गया कि उसका हार्ट फंक्शन स

ऑनलाइन गेमिंग खेलने के शौका ने बनाया अपराधी

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देहरादून –  पशुपति हाइट के पास एक महिला पर किसी अज्ञात व्यक्ति द्वारा जानलेवा हमला किया गया। प्रभारी निरीक्षक नेहरू कॉलोनी  राकेश गुसाईं द्वारा तत्काल घटनास्थल पर पहुंचकर घटना की जानकारी की गई व तत्काल पीड़िता के पति की तहरीर पर अज्ञात अभियुक्त के विरुद्ध  मुकदमा अपराध संख्या  63/21  धारा 307 आईपीसी  पंजीकृत किया गया।अभियुक्त की तलाश के लिए एक टीमें गठित की गई। घटनास्थल का बारीकी से निरीक्षण किया गया तो घटनास्थल पर एक  प्रोजेक्ट फाइल मिली जिस पर एक व्यक्ति रजत (काल्पनिक नाम)का नाम अंकित था पुलिस टीम द्वारा तत्काल उस व्यक्ति की तलाश को मुखबिर लगाये गए व पीड़िता से गहन पूछताछ की परंतु पीड़िता द्वारा अज्ञात व्यक्ति के संबंध में कोई जानकारी ना होना व ना ही उस व्यक्ति को पहचानना बताया इससे पुलिस टीम की मुश्किल बढ़ती गई।  पुलिस टीमों द्वारा घटनास्थल के आसपास के सीसीटीवी कैमरों को तलाश करने का प्रयास किया गया किंतु आस पास कोई भी सीसीटीवी कैमरा नहीं था। पुलिस टीम द्वारा घटनास्थल के आसपास घटना के समय सक्रिय मोबाइल नंबरों का बारीकी से विश्लेषण किया गया किंतु फिर भी कोई सफलता नहीं मिली है और ना ह