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Showing posts from September 5, 2018

एस डी आर एफ ने कठिन यात्रा कर चारावाह का रेस्क्यू किया

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पिथौरागढ़ - एसडीआरएफ की  टीम ने कठिन यात्रा कर  एक चारावाह का किया रेस्क्यू और उसे अस्पताल पहुंचाया  घटना दो सितंबर को करीब दस बजे की हैं, एस डी एम  मुनस्यारी द्वारा सूचना प्राप्त हुई कि मुनस्यारी से लगभग 45  किमी दूर (12 किमी रोड व 33 किमी पैदल ) मिलम ट्रैक पर रेलकोट नामक स्थान पर एक चारावाह की तबियत बहुत ख़राब है,अतः एस डी आर एफ की टीम को सूचित किया गया, सूचना प्राप्त होते ही सामूहिक टीम बनाकर पटवारी लिलम पट्टी( राजेंद्र सामंत) के हमराह एस डी आर एफ  की टीम और  जिला आपदा प्रबंधन की टीम मय आवश्यक रेस्क्यू उपकरण के घटना स्थल के लिए रवाना हुई।रेस्क्यू टीम पैदल लगभग 15 किमी चलकर रात को सात बजे बबलधार पहुंची और वही पर रात्रि विश्राम किया। अगले दिन प्रातः छः बजे रेस्क्यू टीम घटना स्थल के लिए रवाना हुए । लगभग 15 किमी पैदल चलकर रेलकोट से 3 किमी पहले रिसीव किया और अँधेरा होने के कारण रात्रि बुग्दयार  पी डब्लू डी  के गेस्ट हाउस में रुके अगले दिन कुछ स्थानीय लोगो और एस डी आर एफ की टीम द्वारा पीड़ित ब्यक्ति को सड़क तक पहुंचया और 108 के सुपर्द किया,

राज्यपाल मौर्य ने शिक्षक दिवस के अवसर पर शिक्षकों को सम्मानित किया

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देहरादून-राज्यपाल  बेबी रानी मौर्य ने शिक्षक दिवस के अवसर पर राजभवन में आयोजित कार्यक्रम में प्रदेश के 31 शिक्षकों को ‘गवर्नर्स टीचर्स अवार्ड’ 2018 से सम्मानित किया। राज्यपाल  बेबी रानी मौर्य ने बालिका शिक्षा को और अधिक प्रोत्साहित करने की आवश्यकता पर जोर दिया। उन्होंने कहा कि बालिकाओं को विज्ञान, तकनीकि और प्रौद्योगिकी की शिक्षा हेतु प्रोत्साहित किया जाए। शिक्षा मंत्री  अरविन्द पाण्डेय ने पुरस्कृत शिक्षकों को बधाई देते हुए कहा कि उत्तराखण्ड के शिक्षकों का स्तर अच्छा है और इस वर्ष दसवीं और बारहवीं बोर्ड परीक्षाओं के परीक्षाफल में सुधार भी हुआ है। शिक्षा सचिव डाॅ0 भूपेन्द्र कौर औलख ने शिक्षा विभाग के प्रयासों की जानकारी दी। उन्होंने बताया कि विद्यालयों में प्रत्येक माह के अंतिम सोमवार को मासिक टेस्ट लिया जा रहा है। ‘ टीचर आॅफ द  मंथ’ योजना शुरू की गई है। एस.सी.ई.आर.टी ने जिज्ञासा पोर्टल प्रारम्भ किया है। प्रत्येक शनिवार को ‘ डाउट क्लियरिंग डे’ मनाया जा रहा है। मिड डे मील योजना में एनीमिया रोग के प्रतिरोध हेतु लोहे की कढ़ाई प्रयोग की जा रही है। 2000 विद्यालयों में बायोमैट्रिक हाजिरी शुरू