प्रधानमंत्री ने जवानों को अपने हाथों से मिठाई खिलाई
उत्तरकाशी – नरेंद्र मोदी प्रधानमंत्री बनने के बाद अपने फैसलों से हमेशा देश की जनता को चौंका ते रहते हैं, इसी प्रकार वह ज्यादातर त्यौहार और वह भी दीपावली का त्यौहार हमेशा सरहदों पर तैनात जवानों के बीच जाकर मनाते हैं इसी कड़ी में इस वर्ष उनका दौरा केदारनाथ धाम में पूजा अर्चना कर निर्माण कार्यों का निरीक्षण करने का था और उसके बाद आइटीबीपी के जवानों के साथ दीपावली मनाने का था किंतु उन्होंने अपने कार्यक्रम को बदलते हुए सबसे पहले सीमा पर तैनात जवानों के साथ दीपावली मनाई और जवानों को अपने हाथों से मिष्ठान खिलाकर उन्हें दीपावली की बधाई दी। इस अवसर पर जवानों को शुभकामना देते हुए प्रधानमंत्री मोदी ने कहा कि सुदूर बर्फीली चोटियों पर आप सब देश की सुरक्षा में लगे हैं, आपका यह कर्तव्य देश के 125 करोड़ भारतीयों के भविष्य और
सपने को सुरक्षित करने में सक्षम है। उन्होंने कहा कि दीवाली रौशनी का त्यौहार है। यह अच्छाई की रौशनी फैलाता है और डर को दूर भगाता है। उन्होंने कहा कि आप सब जवान, अपनी प्रतिबद्धता और अनुशासन के माध्यम से, आम लोगों के मन में सुरक्षा और निडरता की भावना दे रहे हैं। प्रधानमंत्री ने याद दिलाते हुए कहा कि वे जब गुजरात के मुख्यमंत्री थे तब से दीवाली जवानों के साथ मनाते आ रहे हैं। उन्होंने आईटीबीपी के जवानों के साथ अपनी बातचीत के संस्मरण को भी साझा किया जब वे कई वर्ष पहले कैलाश मानसरोवर की यात्रा पर गए थे। उन्होंने कहा कि भारत तेजी से रक्षा क्षेत्र में आगे बढ़ रहा है। उन्होंने पूर्व सैनिकों के कल्याण के लिए उठाए जा रहे विभिन्न उपायों जैसे ओआरओपी (वन रैंक, वन पेंशन) सहित कई मुद्दों पर अपनी बात रखी। प्रधानमंत्री ने कहा कि भारतीय सेना को संयुक्त राष्ट्र शांति कार्य संचालन में पूरी दुनिया में प्रशंसा और सराहना मिली है।
सपने को सुरक्षित करने में सक्षम है। उन्होंने कहा कि दीवाली रौशनी का त्यौहार है। यह अच्छाई की रौशनी फैलाता है और डर को दूर भगाता है। उन्होंने कहा कि आप सब जवान, अपनी प्रतिबद्धता और अनुशासन के माध्यम से, आम लोगों के मन में सुरक्षा और निडरता की भावना दे रहे हैं। प्रधानमंत्री ने याद दिलाते हुए कहा कि वे जब गुजरात के मुख्यमंत्री थे तब से दीवाली जवानों के साथ मनाते आ रहे हैं। उन्होंने आईटीबीपी के जवानों के साथ अपनी बातचीत के संस्मरण को भी साझा किया जब वे कई वर्ष पहले कैलाश मानसरोवर की यात्रा पर गए थे। उन्होंने कहा कि भारत तेजी से रक्षा क्षेत्र में आगे बढ़ रहा है। उन्होंने पूर्व सैनिकों के कल्याण के लिए उठाए जा रहे विभिन्न उपायों जैसे ओआरओपी (वन रैंक, वन पेंशन) सहित कई मुद्दों पर अपनी बात रखी। प्रधानमंत्री ने कहा कि भारतीय सेना को संयुक्त राष्ट्र शांति कार्य संचालन में पूरी दुनिया में प्रशंसा और सराहना मिली है।
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