कारगिल दिवस पर पूर्व प्रधानमंत्री अटल बिहारी वाजपेई को सदैव याद किया जाएगा- मुख्यमंत्री
देहरादून--शौर्य दिवस के अवसर पर मुख्यमंत्री त्रिवेन्द्र सिंह रावत ने गांधी पार्क में कारगिल शहीद स्मारक पर शहीदों को पुष्प चक्र अर्पित कर श्रद्धांजलि दी। उन्होंने कहा कि कारगिल दिवस पर उस समय के प्रधानमंत्री अटल बिहारी वाजपेई को सदैव याद किया जाएगा तथा उन्होंने एक किस्सा हिमाचल प्रदेश का भी सुनाया जिसमें चंडीगढ़ में भर्ती जवानों को देखने हिमाचल के मुख्यमंत्री और मैं गए हुए थे हम एक-एक करके सभी जवानों से मिल रहे थे जवान भी अपने हाथ हिलाकर हमारा अभिवादन स्वीकार कर रहे थे मगर एक जवान ने अपना हाथ बाहर नहीं निकाला हम आगे बढ़ गए लेकिन दिमाग में एक कशमकश सी रही कि आखिर हममें क्या कमी रह गई थी जो जवान ने हाथ बाहर नहीं निकाला हम फिर वापस हुए और हमने जवान से पूछा तो जवान ने कहा मेरे दोनों हाथ कट गए है हमने पूछा की आपके चेहरे पर कोई शिकन नहीं है। जवान ने कहा की मुझे इस बात की बहुत खुशी है कि हमने टाइगर हिल पर फतह कर लिया है, इसलिए आपको मेरे चेहरे पर कोई शिकन नहीं दिखी उन्होंने कहा कि कारगिल का युद्ध सामरिक दृष्टि से विषम परस्थितियों में लड़ा गया।
जिसमें भारत के वीर सैनिकों ने अदम्य साहस का परिचय देते हुए 26 जुलाई 1999 को कारगिल पर विजय प्राप्त कर दुनिया में भारतीय सैन्य शक्ति का परचम लहराया। उन्होंने कहा कि द्रास, टाईगर हिल, बटालिक में शत्रुओं ने छद्म रूप से घुसकर भारतीय सेना पर वार करना शुरू कर दिया। लेकिन हमारे सैनिकों ने विपरीत परिस्थितियों में भी पूरे पराक्रम एवं साहस के साथ सुनियोजित तरीके से दुश्मनों को खदेड़ा। मुख्यमंत्री त्रिवेन्द्र ने कहा कि कारगिल युद्ध में हमारे 500 वीर सपूत वीरगति को प्राप्त हुए लेकिन हमारी सेना ने प्रत्येक जवान के एक-एक बूंद खून का बदला दुश्मनों से लिया। मुख्यमंत्री ने वीर सैनिकों, सैनिक परिवारों से जुड़े एवं वीरांगनाओं को नमन करते हुए कहा कि हमारे सैनिकों की वीरता देश के सम्मान का परिचायक है। राज्य सरकार वीर सपूतों की शहादत का सम्मान करती है। सैनिकों एवं उनके परिवारों के कल्याण के लिए राज्य सरकार कृतसंकल्प है। शौर्य दिवस के अवसर पर मुख्यमंत्री त्रिवेन्द्र ने पूर्व सैनिकों एवं सैन्य परिवारों के आश्रितों को सम्मानित किया।
शौर्य दिवस के अवसर पर विधायक गणेश जोशी, विधायक खजान दास, मेयर विनोद चमोली भाजपा के प्रदेश अध्यक्ष अजय भट्ट, निदेशक सैनिक कल्याण ब्रिगेडियर के.बी.चन्द, जिलाधिकारी एस.ए. मुरूगेशन, एस.एस.पी. निवेदिता कुकरेती, सैन्य अधिकारी एवं सैन्य परिवार के लोग उपस्थित थे।
जिसमें भारत के वीर सैनिकों ने अदम्य साहस का परिचय देते हुए 26 जुलाई 1999 को कारगिल पर विजय प्राप्त कर दुनिया में भारतीय सैन्य शक्ति का परचम लहराया। उन्होंने कहा कि द्रास, टाईगर हिल, बटालिक में शत्रुओं ने छद्म रूप से घुसकर भारतीय सेना पर वार करना शुरू कर दिया। लेकिन हमारे सैनिकों ने विपरीत परिस्थितियों में भी पूरे पराक्रम एवं साहस के साथ सुनियोजित तरीके से दुश्मनों को खदेड़ा। मुख्यमंत्री त्रिवेन्द्र ने कहा कि कारगिल युद्ध में हमारे 500 वीर सपूत वीरगति को प्राप्त हुए लेकिन हमारी सेना ने प्रत्येक जवान के एक-एक बूंद खून का बदला दुश्मनों से लिया। मुख्यमंत्री ने वीर सैनिकों, सैनिक परिवारों से जुड़े एवं वीरांगनाओं को नमन करते हुए कहा कि हमारे सैनिकों की वीरता देश के सम्मान का परिचायक है। राज्य सरकार वीर सपूतों की शहादत का सम्मान करती है। सैनिकों एवं उनके परिवारों के कल्याण के लिए राज्य सरकार कृतसंकल्प है। शौर्य दिवस के अवसर पर मुख्यमंत्री त्रिवेन्द्र ने पूर्व सैनिकों एवं सैन्य परिवारों के आश्रितों को सम्मानित किया।
शौर्य दिवस के अवसर पर विधायक गणेश जोशी, विधायक खजान दास, मेयर विनोद चमोली भाजपा के प्रदेश अध्यक्ष अजय भट्ट, निदेशक सैनिक कल्याण ब्रिगेडियर के.बी.चन्द, जिलाधिकारी एस.ए. मुरूगेशन, एस.एस.पी. निवेदिता कुकरेती, सैन्य अधिकारी एवं सैन्य परिवार के लोग उपस्थित थे।
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