इस्लाम शान्ति, अमन और सामंजस्य का धर्म है इन्सानियत के लिये एक वरदान -चिदानन्द सरस्वती
नई दिल्ली- शान्ति, अमन, एकता और सतत विकास के लिये इस्लामी एकता और अंर्तधार्मिक एकजुटता समारोह का आयोजन इंदिरा गांधी इंडोर स्टेडियम, नई दिल्ली में जमीयत उलमा-ए-हिंद द्वारा किया गया। यह आयोजन जमीयत उलमा-ए-हिंद के 100 वर्ष पूर्ण होने के उपलक्ष्य में किया गया। इस ऐतिहासिक समारोह का शुभारम्भ जमीयत उलमा-ए-हिंद के प्रमुख मौलाना सय्यद मोहम्मद उस्मान मंसूरपुरी ने फ्लैग होस्टिंग कर किया।’शांति और एकता सम्मेलन’ ’घोषणा पत्र विमोचन’ एवं ’महासंकल्प उद्घोष’ सत्र के मुख्य अतिथि, परमार्थ निकेतन के परमाध्यक्ष, ग्लोबल इण्टरफेथ वाश एलायंस के सह-संस्थापक स्वामी चिदानन्द सरस्वती। ऐतिहासिक समारोह की अध्यक्षता जमीयत उलमा-ए-हिंद के प्रमुख मौलाना सय्यद मोहम्मद उस्मान मंसूरपुरी ने की जिसमें भारत के विभिन्न प्रांतों से पधारे विशिष्ट अतिथि स्वामी चिदानन्द सरस्वती, दिवान सईद जिनुल अबिदीन अली खान कबीला चिशती , सज्जनदद्दी, दरगाह, अजमेर शरीफ, मौलाना मोहम्मद सलमान बिजनोरी , दारूल उलूम देवबंद, करी अहमद अब्दुल्ला रसूलपुरी ने जमीयत गीत का गायन, करी अब्दुल रौफ दारूल उलूम देवबंद ने कुरान-ए-कथन, प्रोफेसर अख्तरूल वास्ये